जिस लखनऊ में 20 मार्च को बॉलिवुड सिंगर कनिका कपूर का कोरोना टेस्ट पॉजिटिव आने के बाद हड़कंप मच गया था, वहां के लोगों और प्रशासन ने ऐसा मैनेज दिया कि उस दिन के बाद से कोरोना का एक भी पॉजिटिव केस सामने नहीं आया। इसका पूरा श्रेय लखनऊ पुलिस और जिला प्रशासन के ’सख्ती संग सहयोग’ वाले रवैये के अलावा लखनऊ की जनता को जाता है।
कोरोना के खतरे के बीच जिला प्रशासन और लोगों के सहयोग से आज उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ देश के लिए मिसाल बन गया है। यह वही लखनऊ है, जहां बीती 20 तारीख को बॉलिवुड सिंगर कनिका कपूर का टेस्ट पॉजिटिव आया था तो पूरे प्रदेश में हड़कंप मच गया था। लेकिन लखनऊ पुलिस और जिला प्रशासन का ’सख्ती संग सहयोग’ वाला रवैया ही है, जिसके कारण बीते 8 दिन में कोरोना का एक भी पॉजिटिव केस सामने नहीं आया है। हालांकि कोरोना पर लखनऊ में लगे इस ब्रेक के लिए असल योगदान तो लखनऊ के लोगों का ही है, जो लगातार सरकार और प्रशासन के निर्देशों का पालन कर रहे हैं।
लखनऊ के इंदिरा नगर इलाके में रहने वाले प्रभात पाल ने कहा, ’सरकार ने हमारी सुरक्षा के लिए लॉकडाउन किया है। बीते 6 दिन से परिवार के साथ हूं। हमारे घर का कोई सदस्य घर से बाहर तक नहीं निकला है। यह हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है कि कोरोना जैसे खतरनाक वायरस को हराने के लिए हम सरकार के निर्देशों का पालन करें। इससे न सिर्फ हम एक जिम्मेदार नागरिक कहलाएंगे बल्कि सरकार की मदद भी कर पाएंगे।’ वहीं नौबस्ता के रहने वाले अजीत दीक्षित का कहना है कि पुलिस का व्यवहार वाकई इस दौरान एक नए रूप में दिख रहा है। हमें भी कोरोना से चल रही इस लड़ाई में एक जिम्मेदार सिटीजन की तरह रहना चाहिए। -वेब