कोरोना की रफ्तार लखनऊ में पूरे प्रदेश के मुकाबले दूने से भी ज्यादा है। जहां पूरे प्रदेश में मरीजों की मिलने की दर औसतन 3.90 फीसदी है तो लखनऊ में यह दर 8.90 फीसदी। 1 से 9 अगस्त के बीच ही करीब पांच हजार मामले कोरोना के सामने आए। आंकड़े यह भी बता रहे हैं कि वीआईपी इलाकों में सबसे तेज गति से मरीज बढ़ रहे हैं।
जबकि चैक जैसे घने बसे इलाके में संक्रमण की रफ्तार काफी कम है। ये आंकड़े हमारी लापरवाहियों की कहानी भी बता रहे हैं। राजधानी में प्रतिदिन पांच हजार से अधिक सैंपल की जांच हो रही है। कुल मरीज 12,500 से अधिक हैं। यदि सैंपल की अपेक्षा पॉजिटिव मरीजों के मिलने की दर देखें तो यह 8.90 फीसदी है। प्रदेश में संक्रमितों के मिलने की दर 3.90 फीसदी है और देश की 9.14 फीसदी।
शहरी इलाके में आलमबाग, चैक और ऐशबाग जैसे घने इलाकों के साथ ही गोमती नगर, इंदिरानगर और जानकीपुरम जैसे वीआईपी इलाकों में भी लगातार पॉजिटिव मरीज मिल रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट के अनुसार अगस्त में गोमती नगर में अयोध्या रोड की कॉलोनियों में 11 फीसदी, गोमती नगर में 10 फीसदी की दर से मरीज पाए गए हैं। इंदिरानगर में यह दर 12.20 फीसदी तक पहुंच गई है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग में इन इलाकों में सैनिटाइजेशन और निगरानी बढ़ा दी है। – वेब